श्रीलंका क्रिकेट संघाचा भारत दौरा, १९९३-९४
| श्रीलंका क्रिकेट संघाचा भारत दौरा, १९९३-९४ | |||||
| तारीख | १८ जानेवारी – २० फेब्रुवारी १९९४ | ||||
| संघनायक | मोहम्मद अझहरुद्दीन | अर्जुन रणतुंगा | |||
| कसोटी मालिका | |||||
| निकाल | भारत संघाने ३-सामन्यांची मालिका ३–० जिंकली | ||||
| सर्वाधिक धावा | मोहम्मद अझहरुद्दीन (३०७) | रोशन महानामा (२८२) | |||
| सर्वाधिक बळी | अनिल कुंबळे (२१) | मुथिया मुरलीधरन (१२) | |||
| मालिकावीर | मोहम्मद अझहरुद्दीन (भारत) | ||||
| एकदिवसीय मालिका | |||||
| निकाल | भारत संघाने ३-सामन्यांची मालिका २–१ जिंकली | ||||
| सर्वाधिक धावा | नवज्योतसिंग सिद्धू (२३३) | अर्जुन रणतुंगा (१०६) | |||
| सर्वाधिक बळी | मनोज प्रभाकर (५) | मुथिया मुरलीधरन (३) | |||
| मालिकावीर | नवज्योतसिंग सिद्धू (भारत) | ||||
श्रीलंका क्रिकेट संघाने जानेवारी-फेब्रुवारी १९९४ दरम्यान तीन कसोटी सामने आणि तीन आंतरराष्ट्रीय एकदिवसीय सामने खेळण्यासाठी भारताचा दौरा केला. भारताने कसोटी मालिका आणि आंतरराष्ट्रीय एकदिवसीय मालिका ३-० आणि २-१ ने जिंकली. याच मालिकेत कपिल देव याने रिचर्ड हॅडलीचा ४३१ बळींचा विक्रम मोडत कसोटीत सर्वाधिक बळी मिळवणारा गोलंदाज ठरला.
सराव सामने
तीन-दिवसीय सामना:भारतीय बोर्ड अध्यक्ष XI वि श्रीलंका
तीन-दिवसीय सामना:पंजाब वि श्रीलंका
कसोटी मालिका
१ली कसोटी
१८-२२ जानेवारी १९९४ धावफलक |
भारत | वि | |
- नाणेफेक: भारत, फलंदाजी.
- नयन मोंगिया (भा) याने कसोटी पदार्पण केले.
- या मैदानावरचा पहिला कसोटी सामना.
२री कसोटी
३री कसोटी
आंतरराष्ट्रीय एकदिवसीय मालिका
१ला सामना
१५ फेब्रुवारी १९९४ धावफलक |
भारत २४६/५ (५० षटके) | वि | २३८/८ (५० षटके) |
नवज्योतसिंग सिद्धू १०८ (१३२) रुवान कलपागे १/३७ (१० षटके) |
- नाणेफेक : श्रीलंका, क्षेत्ररक्षण.
- नयन मोंगिया (भा), निसाल फर्नांडो आणि चमिंडा वास (श्री) या सर्वांनी आंतरराष्ट्रीय एकदिवसीय पदार्पण केले.
२रा सामना
१८ फेब्रुवारी १९९४ धावफलक |
श्रीलंका २२६/७ (५० षटके) | वि | २२७/३ (४८.२ षटके) |
नवज्योतसिंग सिद्धू ७९ (११३) मुथिया मुरलीधरन १/३९ (१० षटके) |
- नाणेफेक : भारत, क्षेत्ररक्षण.
- रविंद्र पुष्पकुमारा आणि अरुण गुणवर्दने (श्री) या दोघांनी आंतरराष्ट्रीय एकदिवसीय पदार्पण केले.
३रा सामना
२० फेब्रुवारी १९९४ धावफलक |
भारत २१३/९ (५० षटके) | वि | १४१/६ (३२.५ षटके) |
- नाणेफेक : श्रीलंका, क्षेत्ररक्षण.
- पावसामुळे श्रीलंकेला ३३ षटकांमध्ये १४१ धावांचे निर्धारीत लक्ष्य देण्यात आले.

