वसंत सबनीस
वसंत सबनीस | |
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जन्म | डिसेंबर ६, १९२३[१] |
मृत्यू | ऑक्टोबर १५, २००२ |
राष्ट्रीयत्व | भारतीय |
कार्यक्षेत्र | साहित्य, नाटक |
भाषा | मराठी |
साहित्य प्रकार | विनोदी कथा, नाटक |
वसंत सबनीस (जन्म : ६ डिसेंबर १९२३; - १५ ऑक्टोबर २००२) हे मराठी साहित्यिक, नाटककार होते. लेखक, विनोदी नाटककार, ग्रामीण कथेला विनोदी बाज देणारे कथाकार व पटकथालेखक म्हणून वसंत सबनीस महाराष्ट्रात गाजले होते. त्यांचे मूळ नाव रघुनाथ दामोदर सबनीस होते. चिल्लरखुर्दा (१९६०), भारूड (१९६२), मिरवणूक (१९६५), पंगत (१९७८), आमची मेली पुरुषाची जात (२००१) हे प्रसिद्घ लेखसंग्रह होत. त्यांच्या कथांवरून 'एकटा जीव सदाशिव', 'सोंगाड्या' हे दादा कोंडकेनिर्मित चित्रपट बनले. 'अशी ही बनवाबनवी','एकापॆक्षा एक', गंमत जंमत', 'नवरी मिळे नवऱ्याला', 'बाळाचे बाप ब्रह्मचारी' ह्या सचिन पिळगावकर यांची प्रमुख भूमिका असलेल्या चित्रपटांच्या कथा-पटकथा सबनीसांच्या होत्या.
पंढरपूरच्या लोकमान्य हायस्कूलमधून वसंत सबनीस १९४२ साली मॅट्रिक झाले. . ... पुण्याच्या फर्ग्युसन महाविद्यालयातून १९४६ साली बी.ए. झाल्यावर सबनीसांनी आयुष्यभर सरकारी नोकरी केली. नोकरी सांभाळून त्यांनी काव्यलेखनाने मराठी साहित्याच्या सेवेचा आरंभ केला. पुढे ते ललित आणि विनोदी लेखनाकडे वळले.
प्रकाशित साहित्य
नाव | साहित्यप्रकार | प्रकाशन | प्रकाशन वर्ष (इ.स.) |
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अदपाव सुतार | लोकनाट्य | परचुरे प्रकाशन | |
अप्पाजींची सेक्रेटरी | नाटक | काँटिनेंटल प्रकाशन | |
आत्याबाईला आल्या मिशा | कथासंग्रह | ||
आमची मेली पुरुषाची जात | विनोदी लेखसंग्रह | २००१ | |
एक नार चार बेजार | लोकनाट्य | ||
कार्टी श्रीदेवी | नाटक | परचुरे प्रकाशन | |
खांदेपालट | कथासंग्रह | ||
गुदगुल्या | बालकथा | ||
गेला माधव कुणीकडे | नाटक | परचुरे प्रकाशन | |
घरोघरी हीच बोंब | नाटक | काँटिनेंटल प्रकाशन | |
चतुर किती बायका | नाटक | परचुरे प्रकाशन | |
चिलखतराज जगन्नाथ | एकांकिकासंग्रह | ||
चिल्लरखुर्दा | विनोदी लेखसंग्रह | १९६० | |
तुम्ही माझं सावकार | लोकनाट्य | ||
त्रिशूळाचा वग | लोकनाट्य | ||
थापाड्या | विनोदी कथासंग्रह | ||
नाटक | नाटक | परचुरे प्रकाशन | |
निळावंती | लोकनाट्य | परचुरे प्रकाशन | |
पखाल | विनोदी कथासंग्रह | ||
पंगत | विनोदी लेखसंग्रह | परचुरे प्रकाशन | १९७८ |
पानदान | ललितलेखसंग्रह | ||
पावशेर न्हावी | लोकनाट्य | परचुरे प्रकाशन | |
बोका झाला संन्यासी | कथासंग्रह | ||
भारूड | विनोदी लेखसंग्रह | १९६२ | |
मामला चोरीचा | नाटक | परचुरे प्रकाशन | |
मिरवणूक | विनोदी लेखसंग्रह | १९६५ | |
मेजर चंद्रकांत | नाटक | ||
माझे घरटे माझी पिले | नाटक | ||
माझेश्वरी | आत्मपर लेखसंग्रह | सुपर्ण प्रकाशन | |
म्हैस येता माझ्या घरी | परचुरे प्रकाशन | ||
विच्छा माझी पुरी करा | लोकनाट्य | काँटिनेंटल प्रकाशन | |
सबनिशी | विनोदी लेखसंग्रह | ||
सव्वाशेर शिंपी | लोकनाट्य | ||
सोबती | व्यक्तिचित्र संग्रह | परचुरे प्रकाशन | |
सौजन्याची ऐशीतैशी | नाटक | परचुरे प्रकाशन | |
हृदयस्वामिनी | नाटक | परचुरे प्रकाशन |
पुरस्कार
वसंत सबनीसांच्या अनेक कथांना सरकारी पुरस्कार मिळाले आहेत.
संदर्भ आणि नोंदी
- ^ संजय वझरेकर (६ डिसेंबर २०१३). "नवनीत:आजचे महाराष्ट्रसारस्वत". लोकसत्ता. ११ डिसेंबर २०१३ रोजी पाहिले.