प्रभाकर नारायण पाध्ये
हा लेख मराठी कादंबरीकार 'प्रभाकर नारायण पाध्ये' ऊर्फ 'भाऊ पाध्ये' याबद्दल आहे. या शब्दाच्या इतर उपयोगांसाठी पाहा, प्रभाकर पाध्ये (नि:संदिग्धीकरण).
भाऊ पाध्ये | |
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जन्म नाव | प्रभाकर नारायण पाध्ये |
टोपणनाव | भाऊ पाध्ये |
जन्म | २९ नोव्हेंबर, इ.स. १९२६ दादर, मुंबई |
मृत्यू | ३० ऑक्टोबर, इ.स. १९९६ |
शिक्षण | अर्थशास्त्र पदवी, मुंबई विद्यापीठ |
राष्ट्रीयत्व | भारतीय |
कार्यक्षेत्र | मराठी साहित्य, कामगार चळवळ, पत्रकारिता |
भाषा | मराठी |
साहित्य प्रकार | कथासंग्रह, कादंबरी, नाटक |
कार्यकाळ | इ.स. १९४९ ते इ.स. १९८९ |
विषय | सामाजिक |
चळवळ | कामगार चळवळ |
प्रसिद्ध साहित्यकृती | वैतागवाडी, वासूनाका, राडा |
वडील | नारायण पाध्ये |
पत्नी | शोशन्ना पाध्ये |
अपत्ये | आरती साळुंके |
पुरस्कार | महाराष्ट्र राज्य पुरस्कार,१९६५ [१] |
प्रभाकर नारायण पाध्ये ऊर्फ भाऊ पाध्ये (नोव्हेंबर २६, १९२६ - ऑक्टोबर ३०, १९९६) हे मराठी कादंबरीकार, कामगार चळवळकर्ते होते.
जीवन
पाध्यांचा जन्म नोव्हेंबर २६, १९२६ रोजी मुंबईतील दादर येथे झाला. १९४८ साली मुंबई विद्यापीठातून अर्थशास्त्र या विषयात पदवी संपादन केली. पदवी संपादन केल्यानंतर काही काळ (१९४९-५१) त्यांनी कामगार चळवळीत कार्यकर्ता म्हणून काम केले. त्यानंतर तीन वर्षॅं ते माध्यमिक शाळेत शिक्षकाचे काम करत होते. नंतर वडाळ्यातील स्प्रिंग मिल येथे चार वर्षॅं व एलआयसीत चार महिने त्यांनी कारकुनी केली. १९५६ मध्ये शोशन्ना माझगांवकर या कामगार चळवळीतील कार्यकर्तीशी त्यांचा विवाह झाला. काही काळ त्यांनी 'हिंद मझदूर', 'नवाकाळ'(१ वर्ष) व 'नवशक्ती'(१० वर्षं) या वृत्तपत्रांमधून पत्रकारिता केली.
भाऊ पाध्ये यांचे प्रकाशित साहित्य
- दिलीप पुरुषोत्तम चित्रे यांनी ’भाऊ पाध्ये यांच्या श्रेष्ठ कथा - कथा/लेख/भाषणं’ या नावाने आणि राजन गवस यांनी ’भाऊ पाध्ये यांची कथा’ या नावाने पाध्यांच्या कथांचा संग्रह संपादित केला आहे.
नाव | साहित्यप्रकार | प्रकाशन | प्रकाशन वर्ष (इ.स.) |
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अग्रेसर | कादंबरी | पॉप्युलर प्रकाशन | इ.स. १९६८ |
ऑपरेशन छक्का | नाटक | भाऊ पाध्ये | इ.स. १९६९ |
एक सुन्हेर ख्वाब | कथासंग्रह | धारा प्रकाशन | इ.स. १९८० |
करंटा | कादंबरी | मॅजेस्टिक प्रकाशन | इ.स. १९८१ |
गुरुदत्त | चरित्र | लोकवाङ्मय गृह | इ.स. १९९० |
डोंबाऱ्याचा खेळ | कथासंग्रह | डिंपल प्रकाशन | इ.स. १९६७ |
दावेदार | |||
पिचकारी | विनोदी कथा | दिनपुष्प प्रकाशन | इ.स. १९७९ |
बॅरिस्टर अनिरुद्ध धोपेश्वरकर | कादंबरी | पॉप्युलर प्रकाशन | इ.स. १९६७ |
भाऊ पाध्ये यांची कथा | संपादित संकलन | ||
भाऊ पाध्ये यांच्या श्रेष्ठ कथा | संपादित संकलन | लोकवाङ्मय गृह | |
मुरगी | कथासंग्रह | डिंपल प्रकाशन | इ.स. १९८१ |
राडा | कादंबरी | अक्षर प्रकाशन/शब्द पब्लिकेशन | इ.स. १९७५ |
वॉर्ड नंबर ७-सर्जिकल | कादंबरी | डिंपल प्रकाशन | इ.स. १९८० |
वासूनाका | कादंबरी | पॉप्युलर प्रकाशन | इ.स. १९६५ |
वैतागवाडी | पॉप्युलर प्रकाशन | इ.स. १९६५ | |
वैतागवाडी (५वी आवृत्ती) | शाल्मली प्रकाशन | इ.स. २००७ | |
होमसिक ब्रिगेड | कादंबरी | अमेय प्रकाशन | इ.स. १९७४ |
वणवा | कादंबरी | इंद्रनील प्रकाशन | इ.स. १९७८ |
थालीपीठ | कथासंग्रह | डिंपल प्रकाशन | इ.स. १९८४ |
जेल बर्ड्स | कादंबरी | डिंपल प्रकाशन | इ.स. १९८२ |
थोडीसी जो पी ली | कथासंग्रह | सरस प्रकाशन | इ.स. १९८६ |
भाऊ पाध्ये यांच्या साहित्यावरील लेखन
- 'वासूनाका'सांगोपांग : संपादक : वसंत शिरवाडकर, १९८३, डिंपल प्रकाशन, वसई
- 'मी आणि माझे समकालीन' : दिलीप पुरुषोत्तम चित्रे, रुचि, मार्च १९८८
पुरस्कार
- 'वैतागवाडी' कादंबरीसाठी महाराष्ट्र राज्य पुरस्कार, १९६५
- 'बॅरिस्टर अनिरुद्ध धोपेश्वरकर' कादंबरीसाठी 'ललित' पुरस्कार, १९६८
- महाराष्ट्र राज्य साहित्य आणि संस्कृती मंडळ गौरववृत्ती, १९९३[१]
संदर्भ
संदर्भसूची
- पाध्ये, भाऊ. वैतागवाडी.