गायत्री देवी (महाराणी)

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गायत्री देवी याच्याशी गल्लत करू नका.
| महाराणी गायत्री देवी | ||
|---|---|---|
| महाराणी गायत्री देवी-युवावस्थेत | ||
| जयपूर संस्थानाचा ध्वज | ||
| महाराजा सवाई मानसिंह यांची राजमुद्रा | ||
| अधिकारकाळ | • इ.स. १९४० ते इ.स. १९४८ • इ.स. १९४८ ते इ.स. १९७० | |
| राज्यव्याप्ती | सध्याच्या राजस्थान राज्यातील जयपूर विभागातील भाग | |
| राजधानी | जयपूर | |
| पूर्ण नाव | जयपूरच्या महाराणी गायत्री देवी | |
| जन्म | २३ मे १९१९ | |
| लंडन, इंग्लंड | ||
| मृत्यू | २९ जुलै, २००९ (वय ९०) | |
| जयपूर, राजस्थान, भारत | ||
| पूर्वाधिकारी | महाराजा माधो सिंह | |
| उत्तराधिकारी | महाराणी पद्मिनी देवी | |
| वडील | महाराजा जितेंद्र नारायण भूप बहादूर | |
| आई | महाराणी इंदिरा राजे | |
| पती | ||
| राजघराणे | कोच राजवंश | |
| राजब्रीदवाक्य | यतो धर्मस्ततो जयः | |
महाराणी गायत्री देवी, (राजकुमारी गायत्री देवी कूच बिहार संस्थान), ह्या राजस्थान, भारत येथील जयपूर संस्थानच्या महाराणी होत्या. त्यांचा जन्म मराठा घराण्यातील बडोदा संस्थानचे महाराजा सयाजीराव गायकवाड यांची मुलगी महाराणी इंदिरा राजे आणि महाराजा जितेंद्र नारायण भूप बहादूर यांच्या पोटी झाला.
महाराणी गायत्री देवी यांनी इ.स. १९६२ मध्ये लोकसभेची निवडणूक लढवून जवळपास साढे तीन लाख मतांच्या फरकाने त्या निवडून आल्या. ही निवडणूक त्यांनी चक्रवर्ती राजगोपालाचारी स्थापित स्वतंत्र पक्षातर्फे लढवली होती, ज्याची दाखल त्यावेळेस गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रेकॉर्ड ने सुद्धा घेतली होती.[१]
संदर्भ
- ^ "गायत्री देवी : खामोश हुई खूबसूरती". ९ मार्च २०२१ रोजी पाहिले..